न्यूज़ डेस्क : चक्रवाती तूफान ताउते के बाद अब चक्रवात यास का असर परिवहन सेवाओं पर दिख रहा है। रेलवे ने इस चक्रवात के चलते रविवार को 25 और ट्रेनों को रद्द करने का फैसला किया है। इन सभी ट्रेनों का परिचालन 24 से लेकर 29 मई तक बंद रहेगा। उधर, भारत मौसम विज्ञान विभाग (आईएमडी) ने शनिवार को कहा कि चक्रवात यास के ‘बहुत गंभीर चक्रवाती तूफान’ में बदलने और 26 मई को ओडिशा व पश्चिम बंगाल के तटों को पार करने का अंदेशा है। इस तूफान का असर आंध्र प्रदेश, ओडिशा, तमिलनाडु, पश्चिम बंगाल और अंडमान निकोबार द्वीपसमूह जैसे राज्यों पर रहने की संभावना है।
ऐसे बनता है चक्रवात
शनिवार को पूर्व-मध्य बंगाल की खाड़ी और उससे सटे उत्तरी अंडमान सागर के ऊपर एक निम्न दबाव वाला क्षेत्र बना। एक कम दबाव का क्षेत्र चक्रवात के गठन का पहला चरण होता है, यह आवश्यक नहीं है कि सभी निम्न दबाव वाले क्षेत्र चक्रवाती तूफान में तब्दील होते हैं।
उत्तर-उत्तर-पश्चिम की ओर बढ़ने की संभावना
आईएमडी ने कहा, एक निम्न दबाव के क्षेत्र के कल यानी रविवार 23 मई की सुबह तक बंगाल की खाड़ी के पूर्व-मध्य क्षेत्र पर विक्षोभ में केंद्रित होने की आशंका है। इसके उत्तर-उत्तर-पश्चिम की ओर बढ़ने की संभावना है, जो 24 मई तक एक चक्रवाती तूफान में तब्दील हो सकता है और अगले 24 घंटों में बहुत गंभीर चक्रवाती तूफान का रूप ले सकता है।
विभाग ने कहा कि यह उत्तर-उत्तर-पश्चिम की ओर बढ़ता रहेगा और आगे गंभीर रूप लेगा और 26 मई की सुबह तक पश्चिम बंगाल के पास बंगाल की उत्तरी खाड़ी और उससे सटे उत्तरी ओडिशा और बांग्लादेश के तटों तक पहुंच जाएगा।
उत्तर भारत पर पड़ेगा असर
आईएमडी ने कहा कि 26 मई की शाम के आसपास इसके पश्चिम बंगाल और उससे सटे उत्तरी ओडिशा और बांग्लादेश के तटों को पार करने की बहुत संभावना है। गौरतलब है कि इसका प्रभाव उत्तर भारत के मैदानी इलाकों और यहां तक कि पहाड़ी राज्यों उत्तराखंड और हिमाचल प्रदेश में भी महसूस किया गया।
शनिवार को रद्द की थीं 14 गाड़ियां
वहीं इससे पहले शनिवार को भी रेलवे ने इस चक्रवात के चलते 14 ट्रेनों को कुछ दिन के लिए रद्द करने का फैसला लिया था। इन ट्रेनों में अधिकतर हावड़ा से चलने वाली ट्रेनें हैं।
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