राहुल गांधी का ट्वीट — आखिर तानाशाहों का नाम ‘M’ अक्षर से ही शुरू क्यों होता हैं

न्यूज़ डेस्क : कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी को म्यांमार में तख्तापलट को लेकर सवाल पूछना भारी पड़ गया। सोशल मीडिया पर लोगों ने राहुल गांधी को उनके ही सवाल पर आड़े हाथों ले लिया। राहुल गांधी ने बुधवार सुबह ट्वीट कर पूछा था कि आखिर तानाशाहों का नाम अंग्रेजी के एक ‘M’ (हिंदी में ‘म’) अक्षर से ही शुरू क्यों होता हैं। इसके बाद सोशल मीडिया पर लोगों ने राहुल से पूछा कि ‘एम’ नाम के सभी तानाशाह तो मोहनदास करमचंद गांधी, आपके बाबा मोती लाल नेहरू और मनमनोहन सिंह कौन?

 

 

 

सोशल मीडिया पर राहुल गांधी इस ट्वीट को रीट्वीट करते हुए पूछा कि ‘एम’ नाम के सभी तानाशाह तो मोहनदास करमचंद गांधी, मोती लाल नेहरू और मनमनोहन सिंह कौन? इसके साथ लोगों ने भी एम नाम वालों में मोहनदास करमचंद गांधी, मनमोहन सिंह, मंडेला, मार्टिन एल किंग, मलाला कई बड़ी समेत महबूबा मुफ्ती, ममता बनर्जी, मुलायम सिंह का भी जिक्र किया। 

 

 

ये सवाल पूछ यूजर्स के निशाने पर आए राहुल

कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने म्यांमार में तख्तापलट को लेकर विवादित सवाल पूछा। राहुल गांधी ने कहा कि आखिर ज्यादातर तानाशाहों के नाम अंग्रेजी के एक ‘M’ (हिंदी में ‘म’) अक्षर से ही शुरू क्यों होता हैं। इस सवाल के साथ ही उन्होंने मार्कोस, मुसोलिनी, मिलोसेविच, मुबारक, मोबुतु, मुशर्रफ और माइकॉम्बेरो आदि तानाशाहों के नाम भी गिनाए। बता दें कि म्यामांर में तख्तापलट करने वाले सेना प्रमुख का नाम मिन आंग ह्लाइंग (Min Aung Hlaing) है, जो अंग्रेजी के ‘एम’ अक्षर से ही शुरू हो रहा है।

 

 

इन तानाशाहों का राहुल ने किया जिक्र

बता दें कि मार्कोस का पूरा नाम फर्डिनेंड इमैनुएल एड्रैलिन मार्कोस था, जो फिलिपींस का राष्ट्रपति बना। उसने देश में सैन्य तानाशाही वाले कई कड़े और बर्बर कानून लागू किए। इसके अलावा, बेनितो मुसोलिनी इटली का एक राजनेता था, जिसने फासीवाद की नींव रखी। स्लोबोदान मिलोशेविच सर्बिया का राजनेता था, जिसे तानाशाह के रूप में जाना जाता है। होस्नी मुबारक मिस्र का, कर्नल जॉसेफ मोबुतु कॉन्गो का, जनरल परवेज मुशर्रफ पाकिस्तान और माइकल माइकल माइकॉम्बेरो बुरुंडी में तानाशाही शासन किया।

 

 

बता दें कि म्यांमार में सेना ने सोमवार को फिर से देश की सत्ता पर कब्जा कर लिया। सेना ने देश की सर्वोच्च नेता और स्टेट काउंसलर आंग सान सू की और राष्ट्रपति विन मिंट समेत कई वरिष्ठ नेताओं को गिरफ्तार कर लिया गया। म्यांमार की सत्ता अपने हाथ में लेने के बाद सेना ने देश में एक साल के लिए आपातकाल लागू कर दिया है।म्यांमार में तख्तापलट की दुनिया भर में निंदा हो रही है।

 

 

आजादी मिलने के बाद से म्यांमार पर ज्यादातर वक्त सेना का शासन रहा है। वर्ष 1962 में सेना यहां सत्ता पर काबिज हो गई थी। सेना की तानाशाही से देशवासियों को आजादी दिलाने और लोकतंत्र की बहाली के लिए आंग सान सू की 22 साल लंबी लड़ाई लड़ी थी, जिसके बाद 2011 में जनता की चुनी हुई सरकार बनी।

 

Why do so many dictators have names that begin with M ?

Marcos

Mussolini

Milošević

Mubarak

Mobutu

Musharraf

Micombero

Comments are closed.