गिरिडीह (झारखंड)। अफगानिस्तान में अगवा भारतीय इंजीनियरों के परिवार वालों ने केंद्र से अनुरोध किया है कि वह परिवार के सदस्यों को वापस भारत लाने के लिए मामले में हस्तक्षेप करें। अफगानिस्तान के उत्तरी बागलान प्रांत के चश्मा-ए-शेर इलाके से तालिबान ने सात लोगों को अगवा कर लिया था, जिनमें छ: भारतीय थे। सभी भारतीय कंपनी केइसी इंटरनेशनल लिमिटेड के कर्मचारी हैं। केइसी उन बड़ी भारतीय कंपनियों में से एक है, जो अफगानिस्तान में बिजली आपूर्ति का कार्य करती है।
सभी भारतीय इंजीनियर इस इलाके में एक पावर सब स्टेशन के निर्माण कार्य के प्रोजेक्ट के निरीक्षण के लिए गए थे। भारतीय विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता के मुताबिक अफगानिस्तान में करीब 150 इंजीनियर और तकनीकी विशेषज्ञ विभिन्न परियोजनाओं पर काम कर रहे हैं।
झारखंड के गिरिडीह और हजारीबाग जिले से जुड़े छह भारतीयों के चार परिवारों ने सरकार से इस संबंध में कदम उठाने का आग्रह किया है। परिवार के सदस्यों ने कहा, ‘हम सरकार द्वारा हस्तक्षेप की मांग करते हैं ताकि हमारे परिवार के सदस्यों को सुरक्षित रूप से वापस लाया जा सके।’
पुलिस इस समय परिवार और राज्य सरकार के साथ लगातार संपर्क में बनी हुई है। स्थानीय पुलिस ने कहा, ‘राज्य और केंद्र सरकार दोनों इस तथ्य से अवगत हैं और हमारी मदद कर रहे हैं। हम अगवा भारतीयों को वापस लाने की कोशिश करेंगे।’ विदेश मामलों के मंत्रालय (एमईए) ने बताया कि वे भारतीयों का पता लगाने के लिए अफगानिस्तान के अधिकारियों के संपर्क में हैं।
UN ने सुरक्षित रिहाई की मांग
संयुक्त राष्ट्र ने अफगानिस्तान में अगवा किए गए सात भारतीयों इंजीनियरों की सुरक्षित रिहाई को लेकर अपनी प्रतिबद्धता का इजहार किया। संयुक्त राष्ट्र सेक्रट्री जनरल के प्रवक्ता स्टेफेन दुरेर्रिक ने कहा कि उनकी ओर से सभी भारतीय इंजीनियरों की सुरक्षित रिहाई का प्रयास किया जा रहा है। हालांकि उन्होंने अफगानिस्तान में तैनात संयुक्त राष्ट्र मिशन के पास इस बारे में कोई खास जानकारी होने से इनकार किया है।
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