चंडीगढ़। कांग्रेस अध्यक्ष पद पर राहुल गांधी की ताजपोशी के बाद हरियाणा के कांग्रेसियों में अध्यक्ष पद हथियाने के लिए कुर्सी की लड़ाई तेज हो गई है। पूर्व मुख्यमंत्री भूपेंद्र सिंह हुड्डा जहां फरवरी में रथ पर सवार होकर पूरे प्रदेश का भ्रमण करेंगे, वहीं उनकी रथयात्रा से पहले प्रदेश अध्यक्ष अशोक तंवर ने साइकिल यात्रा निकालने का एलान कर दिया है।
गौरतलब है कि मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने हर जिले में दो दिन का प्रवास शुरू कर रखा है। उसके जवाब में हुड्डा एक दिन में दो-दो विधानसभा क्षेत्र कवर करते हुए रात के समय विधानसभा क्षेत्रों में प्रवास करेंगे। इसकी शुरुआत 26 दिसंबर से हो जाएगी।
हुड्डा अपने विधानसभा क्षेत्र में 27 व 31 दिसंबर को भी रहेंगे। 24 जनवरी को मुख्यमंत्री के निर्वाचन क्षेत्र करनाल में किसान-मजदूर पंचायत करते हुए हुड्डा मुख्यमंत्री को ललकारेंगे। फिर फरवरी में उनकी रथयात्रा शुरू हो जाएगी। रथयात्रा से पहले हुड्डा ने राज्य के सभी 90 हलकों में दस्तक देने का कार्यक्रम तैयार किया है।
दूसरी तरफ हुड्डा के विधानसभा प्रवास, सीएम के गढ़ में रैली और रथयात्रा के आयोजन के जवाब में हरियाणा कांग्रेस के अध्यक्ष अशोक तंवर ने साइकिल पर पूरे प्रदेश को नापने की रूपरेखा तैयार कर ली। तंवर साल के पहले दिन 1 जनवरी को फतेहाबाद में जन संघर्ष रैली करते हुए ताकत दिखाएंगे। मौसम साफ होते ही पूरे प्रदेश में तंवर की साइकिल यात्राओं का दौर शुरू होगा।
इन यात्राओं के जरिए तंवर लोगों के बीच जाकर उनकी समस्याएं सुनेंगे और कार्यकर्ताओं को एकजुट करते हुए हाईकमान में नजर में अपनी उपस्थिति दर्ज कराएंगे। हुड्डा और तंवर की इस रस्साकसी को प्रदेश अध्यक्ष की कुर्सी और हरियाणा की राजनीति में खुद को कांग्रेस के मुख्य नेता के रूप में स्थापित करने की कोशिश के रूप में देखा जा रहा है। तंवर हालांकि खुद को अध्यक्ष मानते हुए अपनी कुर्सी सेफ बता रहे, लेकिन जिस तरह से हुड्डा समर्थक विधायकों ने हाईकमान पर तंवर को बदलने व हुड्डा को अध्यक्ष बनाने का दबाव बनाया हुआ है, उसके मद्देनजर अब हरियाणा के कांग्रेसियों की लड़ाई भविष्य में रोचक होने के पूरे आसार हैं।
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