भारत से विवाद कर चीन ने पहुँचाया अमेरिका को रणनीतिक फ़ायदा

न्यूज़ डेस्क : भारत और चीन के बीच उपजे सीमा विवाद ने अमेरिका को वह दे दिया जिसे पाने के लिए पेंटागन और व्हाइट हाउस सालों से पेच भिड़ा रहे थे। यह है अमेरिका और भारत के नजदीकी सैन्य संबंध। अमेरिका के रणनीतिज्ञ लंबे समय से इसका इंतजार कर रहे थे भारत मजबूती से अमेरिका का पक्षधर हो जाए। चीन ने भारत से विवाद शुरू कर अमेरिका को यह उपहार दे दिया है।

 

 

130 करोड़ से ज्यादा की आबादी वाले भारत को अमेरिका चीन का मजबूत विकल्प मानता है। यूं तो भारत वैश्विक शक्तियों के साथ हमेशा से संतुलित संबंध रखता आया है, लेकिन इस बार चीन के साथ विवाद के बाद उसे भी ऐसा लगने लगा है कि अमेरिका के साथ संबंध मजबूत नहीं करने से उसे नुकसान हो सकता है। 

 

हिंदुस्तान टाइम्स की एक रिपोर्ट के अनुसार, इंडो-पैसिफिक अफेयर्स के लिए सहायक रक्षा सचिव रैंडी श्राइवर कहते हैं, ‘अमेरिका और भारत के बीच सैन्य संबंध मजबूत करने का यह अच्छा मौका है। अगर ऐसा होता है तो यह राष्ट्रपति ट्रंप की रणनीतिक जीत होगी। भारत-चीन विवाद से हमारी रक्षा रणनीति को बल मिला है।’

 

 

ट्रंप राष्ट्रपति बनने के बाद से ही भारत के साथ संबंध बेहतर बनाए रखने की कोशिशें करते रहे हैं। साल 2018 में अमेरिका और भारत ने एक रक्षा सौदे पर हस्ताक्षर किए थे, जिसके तहत भारत को आधुनिक अमेरिकी हथियार और संवेदनशील सैन्य तकनीक खरीदने की अनुमति मिली था। 

 

2019 में अमेरिका ने चार साल में दोनों देशों के बीच सबसे बड़े रक्षा सौदे को मंजूरी दी जब उसने भारत को एक बिलियन डॉलर की नौसैनिक तोपों की बिक्री की पुष्टि की। इसके साथ ही पिछले साल अमेरिकी और भारतीय सेनाओं ने भी अपनी पहली संयुक्त भूमि, समुद्री और हवाई सैन्य अभ्यास किए थे।

 

अब ऐसी परिस्थितियों में चीन ने भारत के साथ विवाद मोल लेकर एक तरीके से अमेरिका को ही फायदा पहुंचाया है। अगर अमेरिका और भारत के संबंधों में नजदीकी आती है तो इसका सबसे बड़ा नुकसान चीन को ही भुगतना पड़ सकता है। इस बार भारत का रुख भी न झुकने वाला रहा है। 

 

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