जयपुर में उपमुख्यमंत्री प्रेमचंद बैरवा की हत्या की धमकी: 6 आरोपी गिरफ्तार, 4 जेल के बंदी शामिल

राजस्थान की राजधानी जयपुर में एक बड़ी घटना सामने आई है, जहां उपमुख्यमंत्री प्रेमचंद बैरवा को जान से मारने की धमकी देने वाले छह आरोपियों को गिरफ्तार किया गया है। यह घटना उस समय सामने आई जब जयपुर पुलिस कंट्रोल रूम को एक कॉल मिली, जिसमें उपमुख्यमंत्री की हत्या की धमकी दी गई थी। इस मामले में पुलिस ने त्वरित कार्रवाई करते हुए, छह लोगों को गिरफ्तार किया है, जिनमें से चार आरोपी जयपुर सेंट्रल जेल के बंदी हैं।

घटना का विवरण

जयपुर पुलिस कंट्रोल रूम को बुधवार को एक अज्ञात कॉल आई, जिसमें उपमुख्यमंत्री प्रेमचंद बैरवा की हत्या की धमकी दी गई। धमकी देने वाले व्यक्ति ने पुलिस कंट्रोल रूम को कहा कि अगर उनकी मांगें नहीं मानी गईं, तो वह बैरवा की जान ले लेंगे। इस कॉल के बाद, पुलिस महकमे में हड़कंप मच गया और तुरंत मामले की गंभीरता को देखते हुए जांच शुरू की गई।

पुलिस की त्वरित कार्रवाई

धमकी मिलने के बाद, जयपुर पुलिस ने जांच की दिशा तय की और कुछ घंटों के भीतर आरोपी पकड़े गए। पुलिस ने मामले की त्वरित जांच शुरू की और तकनीकी साक्ष्यों के आधार पर आरोपियों का पता लगाया। छह आरोपी गिरफ्तार किए गए, जिनमें से चार जेल के बंदी थे। इन आरोपियों ने जेल से ही यह धमकी कॉल की थी और इसका मुख्य उद्देश्य उपमुख्यमंत्री को डराना और उनकी हत्या करने की धमकी देना था।

आरोपी कौन थे?

गिरफ्तार किए गए आरोपियों में से चार लोग जयपुर सेंट्रल जेल में बंद थे। इन आरोपियों ने अपनी योजना के तहत कॉल की थी, जबकि दो अन्य आरोपी बाहर से थे और वे घटना में शामिल थे। पुलिस ने बताया कि इन आरोपियों का जेल में कुछ आपराधिक गतिविधियों से जुड़ा इतिहास है, और इनका उद्देश्य केवल डर पैदा करना था।

पुलिस का बयान

जयपुर पुलिस ने बताया कि इस मामले में गिरफ्तारी के बाद पूछताछ की गई और सभी आरोपियों ने अपनी भूमिका स्वीकार की। पुलिस ने कहा कि इस धमकी के पीछे कोई साजिश या बड़ा मंसूबा था, लेकिन त्वरित कार्रवाई के कारण इसका उद्देश्य विफल हो गया। पुलिस ने यह भी स्पष्ट किया कि सुरक्षा कारणों से उपमुख्यमंत्री प्रेमचंद बैरवा की सुरक्षा बढ़ा दी गई है और इस मामले की आगे की जांच जारी है।

राजनीति में हलचल

उपमुख्यमंत्री प्रेमचंद बैरवा को मिली इस धमकी से राज्य की राजनीति में हलचल मच गई है। विपक्षी दलों ने इस घटना को गंभीर मानते हुए राज्य सरकार से सवाल किए हैं कि आखिर यह स्थिति क्यों बनी। वहीं, सरकार ने इस मामले में सख्त कार्रवाई का आश्वासन दिया है और आरोपियों के खिलाफ कड़ी से कड़ी सजा दिलवाने की बात की है।

जयपुर सेंट्रल जेल की भूमिका

जयपुर सेंट्रल जेल में बंद अपराधियों ने जो इस मामले में शामिल थे, उनकी भूमिका भी जांच का विषय बनी हुई है। जेल प्रशासन के खिलाफ भी सवाल उठने लगे हैं कि आखिर कैसे इन अपराधियों को जेल के अंदर से धमकी देने की सुविधा मिल गई। पुलिस और जेल प्रशासन ने इस मामले में गहन जांच करने की बात की है और किसी भी प्रकार की लापरवाही को बर्दाश्त नहीं करने की चेतावनी दी है।

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