चंडीगढ़। गेल वेल्यूम शीट घोटाले में विधानसभा कमेटी के सामने आने से बच रहे चर्चित आइएएस अशोक खेमका लगातार दूसरे दिन इनेलो के निशाने पर रहे। विपक्ष के नेता अभय चौटाला ने सदन में कहा कि खुद को सर्वाधिक ईमानदार बताने वाला यह अधिकारी आखिर जांच में सहयोग क्यों नहीं करता। प्रदेश सरकार भी उसे बचाने में लगी है।
विपक्ष के नेता अभय चौटाला नेउठाया आइएएस के पूछताछ में शामिल न होने का मुद्दा
अभय चौटाला ने कहा कि स्टेट वेयर हाउसिंग कारपोरेशन में हुए घोटाले में इस अधिकारी को विधानसभा कमेटी ने कई नोटिस दिए, लेकिन वह पेश नहीं हुआ। फिर ऐसी कमेटी का क्या फायदा। इससे साबित होता है कि अफसर मनमानी कर रहे और सरकार का उन पर नियंत्रण नहीं।
उन्होंने कहा कि हाल ही में उन्होंने व्यक्तिगत तौर पर भी उनसे कमेटी के सामने पूछताछ के लिए पेश होने को कहा था, लेकिन वह किसी और सरकारी काम का बहाना लेकर कन्नी काट गए। ऐसे में उनके खिलाफ विधानसभा की अवमानना का केस दर्ज होना चाहिए।
चौटाला ने कहा कि कैग की 2013-14 की रिपोर्ट में हरियाणा भंडारण निगम में गेल वेल्यूम शीट की खरीद में अनियमितता का खुलासा हुआ था। इस पर आबकारी एवं कराधान विभाग के पूर्व अतिरिक्त मुख्य सचिव रोशन लाल ने मुख्य सचिव डीएस ढेसी को पत्र लिखा था। उन्होंने खरीद की सीबीआइ से जांच कराने की मांग की थी। गेल वेल्यूम शीट की खरीद के समय खेमका भंडारण निगम में प्रबंध निदेशक थे।
News Source: jagran.com
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