पेगासस मामला : इस्राइल की कंपनी एनएसओ से कोई करार नहीं किया — रक्षा मंत्रालय

न्यूज़ डेस्क : पेगासस जासूसी मामले को लेकर संसद में हंगामे के बीच रक्षा मंत्रालय ने राज्यसभा में कहा है कि उसने इस्राइल की कंपनी एनएसओ ग्रुप टेक्नालॉजीज से कोई करार नहीं किया है। 

 

 

 

राज्यसभा में रक्षा मंत्रालय ने सोमवार को एक लिखित जवाब में बताया कि इस्राइल की एनएसओ ग्रुप ऑफ टेक्नालॉजी के साथ मंत्रालय का कोई भी करार या लेन-देन नहीं किया है। सोमवार को राज्यसभा में सदस्य वी. शिवदासन रक्षा मंत्रालय से खर्चों से जुड़े कुछ सवाल पूछे थे। उन्होंने यह भी पूछा था कि क्या सरकार ने एनएसओ ग्रुप के साथ कोई ट्रांजैक्शन किया है। इसके लिखित जवाब में रक्षा मंत्रालय की तरफ से बताया गया है कि मंत्रालय का एनएसओ के साथ कोई करार नहीं हुआ है। 

 

 

बता दें, एनएसओ वही इस्राइली कंपनी है, जिसके स्पाईवेयर पेगासस की मदद से जासूसी के आरोप लगाए जा रहे हैं और संसद में विपक्ष लगातार सरकार के खिलाफ आवाज उठा रहा है। पेगासस जासूसी मामला संसद के मानसून सत्र के पहले दिन से ही हंगामे की वजह बना हुआ है। 19 जुलाई को संसद सत्र की शुरुआत से ही संसद के दोनों सदनों में विपक्ष रोज इस मुद्दे को उठा रहा है, लेकिन अब तक मामले पर किसी भी सदन में चर्चा नहीं हुई है। 

 

 

 

भारत-इस्राइल के बीच सैन्य सहयोग बढ़ाने पर चर्चा

उधर, भारत व इस्राइल के बीच सोमवार को रक्षा सहयोग बढ़ाने पर सार्थक चर्चा हुई। इस्राइली रक्षा मंत्री बेनी ग्लेंज ने ट्वीट कर कहा कि भारत के राजदूत संजीव सिंगला ने उनसे मुलाकात की। उन्होंने दोनों देशों के बीच मौजूदा रक्षा सहयोग व औद्योगिक संबंधों की समीक्षा की। दो सप्ताह पूर्व रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने ग्लेंज से फोन पर चर्चा की थी। इस्राइल में पीएम नफ्ताली बेनेट की नई सरकार बनने के बाद दोनों रक्षा मंत्रियों के बीच यह पहली चर्चा थी। 

 

 

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