न्यूज़ डेस्क : जेफ बेजोस अमेजन के मुख्य कार्यकारी अधिकारी (CEO) का पद छोड़ने जा रहे हैं। बेजोस करीब तीन दशक से इस पद पर थे। कंपनी के अन्य हिस्सों पर ध्यान देने के लिए बेजोस अपना पद छोड़ रहे हैं। सीईओ का पद छोड़ने के बाद वे एग्जेक्यूटिव चेयरमैन बनेंगे। जेफ बेजोस के बाद अमेजन के सीईओ का पद एंडी जैसी संभालेंगे जो कि फिलहाल कंपनी में दूसरे नंबर पर हैं।
कर्मचारियों को चिट्ठी के जरिए मिली जानकारी
अमेजन के सीईओ के पद से जेफ बेजोस के जाने की खबर कंपनी के कर्मचारियों एक चिट्ठी के जरिए मिली। जेफ बेजोस ने अपनी चिट्ठी में लिखा, ‘अमेजन के सीईओ के पद पर होना एक बड़ी जिम्मेदारी है, जिसमें बहुत वक्त लगाना पड़ता है। ऐसे में किसी दूसरे काम में ध्यान लगाना मुश्किल होता है। एग्जेक्यूटिव चेयरमैन बनने के बाद मैं कंपनी के अन्य कामों को भी देख सकूंगा।’
यदि इरादे नेक हों और हौसले बुलंद, तो सफलता जरूर कदम चूमती है। इसका सबसे बड़ा उदाहरण हैं अमेजन के मालिक जेफ बेजोस। कई कंपनियों में नौकरी करने के बाद बेजोस से एक ऑनलाइन बुक स्टोर खोला, जिसने उनकी किस्मत बदल दी।
1994 में की अमेजन की शुरुआत
वर्ष 1994 में बेजोस ने एक गैराज से अमेजन की शुरुआत की थी। तब वे पुरानी किताबों की ही बिक्री करते थे। इसके बाद जुलाई 1995 में इसकी वेबसाइट भी आ गई। अमेजन की रिपोर्ट के अनुसार, इसके करीब दो साल बाद 1997 के आखिर तक कंपनी के पास 150 से ज्यादा देशों में 15 लाख से ज्यादा ग्राहक थे।
शुरुआती सालों में घाटे में रही कंपनी
मालूम हो कि कंपनी को शुरुआत के कुछ सालों में घाटा हुआ था। कंपनी शुरू करने के पहले ही साल में 16 लाख रुपये से ज्यादा का नुकसान हुआ था। लेकिन बाद में हर साल मुनाफा ही हुआ। अमेजन की एनुअल रिपोर्ट्स के मुताबिक, साल 2019 ही कंपनी को 19.63 लाख करोड़ रुपये का रेवेन्यू मिला और 81 हजार करोड़ रुपये से ज्यादा का फायदा हुआ था।
साल 2005 से हुआ मुनाफा
1995 में कंपनी को 1.64 करोड़ रुपये का रेवेन्यू मिला था और 0.96 करोड़ रुपये का घाटा हुआ था। 2000 में कंपनी को 11,868 करोड़ रुपये का रेवेन्यू मिला था और 0.96 करोड़ रुपये का घाटा हुआ था। लेकिन साल 2005 में कंपनी को मुनाफा हुआ, जो दिन प्रति दिन बढ़ता ही गया।
पहला नाम नहीं था अमेजन
जेफ ने सबसे पहले कंपनी का नाम अमेजन नहीं सोचा था। वो ‘आबरा का डाबरा’ नाम से इतने आकर्षित थे, कि कंपनी का नाम ‘काडाबरा’ रखना चाहते थे। हालांकि उनके वकील ने ऐसा करने से मना किया था। इसके बाद उनको RELENTLESS नाम पसंद आया, लेकिन बात नहीं बनी। फिर उन्होंने इसका नाम अमेजन रखा।
ग्राहक संतुष्टि के मूल मंत्र पर काम करती है कंपनी
साल 2005 में कंपनी ने अमेजन प्राइम मेंबरशिप की शुरुआत की थी, जिससे कंपनी को नई ऊंचाइयां मिली। बेजोस हमेशा से ही ग्राहक संतुष्टि के मूल मंत्र पर काम करते आए हैं, जिसके लिए कंपनी ने कई प्रयोग भी किए हैं।
2018 में बने थे दुनिया के सबसे अमीर रईस शख्स
बात अगर जेफ बेजोस की संपत्ति की करें, तो 2018 में वे दुनिया के सबसे अमीर रईस शख्स बने थे। हालांकि माइक्रोसॉफ्ट के सह-संस्थापक बिल गेट्स सबसे ज्यादा लंबे समय तक दुनिया के सबसे अमीर शख्स रहे हैं। साल 1999 से 2007 तक यानी आठ सालों तक बिल गेट्स फोर्ब्स की लिस्ट में शीर्ष पर रहे हैं। जबकि 2008 में इस सूची में पहले स्थान पर वॉरेन बफे थे। लेकिन इसके एक साल बाद ही गेट्स ने दोबारा यह मुकाम हासिल किया। 2010 से 2013 तक लगातार चार साल कार्लोस स्लिम शीर्ष पर थे। वहीं 2014 में गेट्स फिर टॉप पर आ गए।
मौजूदा समय में उ इतनी है कुल संपत्ति
फोर्ब्स रियल टाइम सूची के अनुसार, मौजूदा समय में उनकी कुल संपत्ति 194.7 अरब डॉलर है और वे दुनिया के सबसे रईस शख्स हैं, वहीं ब्लूमबर्ग बिलेनियर इंडेक्स के अनुसार, वे 195 अरब डॉलर के मालिक हैं और दूसरे सबसे अमीर व्यक्ति हैं, वहीं 203 अरब डॉलर की संपत्ति के साथ एलन मस्क पहले स्थान पर हैं। बेजोस चांद पर एक कॉलोनी बसाना चाहते हैं।
इतनी रही बिल गेट्स और जेफ बेजोस की नेटवर्थ
फोर्ब्स के अनुसार, 1999 में बिल गेट्स की कुल संपत्ति 3.65 लाख करोड़ रुपये थी। उनकी संपत्ति में काफी उतार-चढ़ाव आया है। साल 2015 तक बिल गेट्स की नेटवर्थ बेजोस से ज्यादा थी। 2015 में गेट्स की नेटवर्थ 5.05 लाख करोड़ रुपये थी, जबकि बेजोस की नेटवर्थ इससे करीब आधी यानी 2.24 लाख करोड़ रुपये थी। लेकिन 2018 से बेजोस की संपत्ति ज्यादा रही है। 2018, 2019 और 2020 में बिल गेट्स की नेटवर्थ क्रमश: 6.12 लाख करोड़ रुपये, 6.79 लाख करोड़ रुपये और 8.58 लाख करोड़ रुपये थी। वहीं इस दौरान बेजोस की नेटवर्थ क्रमश: 7.61 लाख करोड़ रुपये, 9.17 लाख करोड़ रुपये और 15.17 लाख करोड़ रुपये थी।
2019 में करीब 60 लाख रुपये थी सैलरी
बेजोस के पास अमेजन के 7.50 करोड़ से ज्यादा शेयर्स हैं। यानी, उनके पास अमेजन में 15.1 फीसदी शेयर्स हैं। 2019 में उन्हें 81,840 डॉलर ( करीब 60 लाख रुपये ) सैलरी के तौर पर मिले थे। इसके अलावा उन्हें 16 लाख डॉलर यानी करीब 11.50 करोड़ रुपये कंपन्सेशन भी मिला था।
2026 तक दुनिया के पहले खरबपति बन सकते हैं जेफ बेजोस
सलाहकार फर्म कंपेरिजन (Comparisun) की रिपोर्ट के अनुसार, कोरोना संकट में लॉकडाउन के चलते एक तरफ जहां ज्यादातर अमीरों को नुकसान हुआ है, वहीं अमेजन का कारोबार तेजी से बढ़ा है। इसकी वजह से बेजोस की संपत्ति में भी उछाल आया है। छह साल बाद यानी साल 2026 तक बेजोस की संपत्ति बढ़कर एक ट्रिलियन डॉलर यानी 1000 अरब डॉलर हो जाएगी। कंपेरिजन की यह रिपोर्ट फोर्ब्स टॉप-25 और न्यूयॉर्क स्टॉक एक्सचेंज में लिस्टेड मोस्ट वैल्यूड कंपनीज के आधार पर तैयार की गई है। सलाहकार फर्म ने शेयर बाजार में इन कंपनियों और व्यक्तियों की पिछले पांच साल की औसत वृद्धि को ध्यान में रखते हुए यह रिपोर्ट तैयार की है।
बेजोस को मिला था यह सम्मान
साल 1999 में टाइम मैगजीन ने जेफ बेजोस को ‘पर्सन ऑफ द ईयर’ और ‘द किंग ऑफ साइबर कॉमर्स’ की उपाधि दी गई थी। खास बात यह है कि बेजोस 35 साल की उम्र में यह पुरस्कार पाने वाले चौथे युवा थे।
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