वर्क फ्रॉम होम स्थाई समाधान नहीं, मुफ्त में सबको मिलनी चाहिए कोरोना की वैक्सीन : नारायण मूर्ति

न्यूज़ डेस्क : कोरोना वायरस महामारी की वैक्सीन को सफल दुनिया में अनेक चर्चाएं और ट्रायल चल रहे हैं। हाल ही में अमेरिकी दवा कंपनी मॉडर्ना इंक ने कहा था कि उसकी प्रयोगात्मक वैक्सीन कोविड-19 की रोकथाम में 94.5 फीसदी प्रभावी पाई गई है। इससे पहले फाइजर को भी बड़ी सफलता प्राप्त हुई थी। इसी बीच अब इंफोसिस के सह संस्थापक नारायण मूर्ति ने कहा है कि जब कोरोना वैक्सीन बाजार में उपलब्ध होगी, तब देश के हर व्यक्ति को वैक्सीन मुफ्त में लगाई जानी चाहिए और किसी से भी उसके लिए पैसे नहीं लिए जाने चाहिए।

 

 

 

मुफ्त में होना चाहिए टीकाकरण- मूर्ति 

इस संदर्भ में मूर्ति ने कहा कि, ‘मैं मानता हूं कि कोरोना वायरस की वैक्सीन एक पब्लिक गुड होनी चाहिए और प्रत्येक व्यक्ति के लिए टीकाकरण मुफ्त में होना चाहिए। ये वैक्सीन सभी के लिए मुफ्त होनी चाहिए। इसके लिए वैक्सीन बनाने वाली सभी कंपनियों को संयुक्त राष्ट्र (UN) या देशों की ओर से मुआवजा मिलना चाहिए।’

 

 

भाजपा ने घोषणापत्र में किया था वादा

मालूम हो कि पिछले माह ही बिहार चुनाव के दौरान भारतीय जनता पार्टी (BJP) ने अपने घोषणापत्र जारी किया था, जिसके तहत सभी को कोविड-19 की वैक्सीन मुफ्त में मुहैया कराने का वादा किया गया था। 

 

वर्क फ्रॉम होम का समर्थन नहीं

इसके अतिरिक्त नारायण मूर्ति ने हमेशा घर से काम (वर्क फ्रॉम होम) करने पर असहमति जताई है। उन्होंने कहा कि भारत में ज्यादातर लोगों के घर छोटे हैं, जिसकी वजह से उन्हें ध्यान केंद्रित करने में दिक्कत होती है। मूर्ति ने छोटी-छोटी अवधि के लिए स्कूलों को खोलने के फैसले का भी समर्थन किया है, हालांकि इसके लिए उन्होंने कहा है कि पीपीई किट, सोशल डिस्टेंसिंग, मास्क और ग्लव्स समेत अन्य सुरक्षा नियमों को पालन होना चाहिए।

 

 

भारत की आबादी का टीकाकरण करने के लिए सरकार को करीब तीन अरब खुराक की जरूरत होगी। कोरोना वायरस के दैनिक मामलों में आज एक बार फिर इजाफा देखने को मिला है। पिछले 24 घंटे में 38,617 नए मामलों के सामने आने के बाद कुल संक्रमितों की संख्या 89 लाख को पार कर गई है। मंगलवार को 29,164 मामले रिपोर्ट किए गए। वहीं, संक्रमणमुक्त होने वाले मरीजों की संख्या बढ़कर 83 लाख हो गई है।

 

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