सुप्रीम कोर्ट ने सभी राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों से पूछा की कोरोना काल में बुजुर्गों की सुविधा को लेकर उनके लिए क्या कदम उठाए गए

न्यूज़ डेस्क : सुप्रीम कोर्ट ने सोमवार को सभी राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों को हलफनामा दाखिल कर यह बताने के लिए कहा है कि कोरोना महामारी के इस दौर में बुजुर्गों की सुविधा को लेकर उनके द्वारा क्या कदम उठाए गए हैं। राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों को चार हफ्ते में हलफनामा दाखिल करने के लिए कहा गया है।

 

 

जस्टिस अशोक भूषण, जस्टिस आर सुभाष रेड्डी और जस्टिस एमआर शाह की पीठ ने सभी राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों को बुजुर्गों को मास्क, सैनिटाइजर सहित अन्य सुविधाएं मुहैया कराने से संबंधित मसले पर विस्तृत रिपोर्ट दाखिल करने का निर्देश दिया। 

 

शीर्ष अदालत पूर्व राज्यसभा सांसद और वरिष्ठ वकील अश्विनी कुमार की उस याचिका पर सुनवाई कर रही है जिसमें कोरोना महामारी के इस दौर में बुजुर्गों को उचित देखभाल और सुविधा मुहैया कराने की गुहार की गई है। 

 

इससे पहले चार अगस्त को सुप्रीम कोर्ट ने केंद्र व राज्य सरकारों को यह सुनिश्चित करने के लिए कहा था कि बुजुर्गों को वक्त पर पेंशन मिल जाना चाहिए। साथ ही सुप्रीम कोर्ट ने यह भी कहा था कि बुजुर्गों को हर जरूरी चीजें समय पर उपलब्ध कराया जाना चाहिए।

 

देश बहुत बड़ा है, अनुच्छेद 32 के तहत सभी याचिकाएं नहीं सुन सकते

सुनवाई के दौरान याचिकाकर्ता ने पीठ को बुजुर्ग लोगों के साथ हुए बेहद खराब बर्ताव की कुछ घटनाओं के बारे में बताने की कोशिश की तो पीठ ने कहा कि यह देश बहुत बड़ा है। ऐसे में अनुच्छेद-32 के तहत सभी याचिकाओं पर सुनवाई नहीं की जा सकती। राज्यों को इस पर ध्यान देना चाहिए।

 

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