न्यूज़ डेस्क : मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने बृहस्पतिवार को अधिकारियों से कहा कि कोविड-19 के संक्रमण से लोगों को सुरक्षित रखने के लिए हर संभव कदम उठाएं। उन्होंने इसकी संक्रमण की चेन को तोड़ने के लिए सर्विलांस, डोर–टू–डोर सर्वे व मेडिकल टेस्टिंग और प्रभावी बनाने के निर्देश भी दिए। सीएम लोकभवन में हुई एक उच्च स्तरीय बैठक में अनलॉक व्यवस्था की समीक्षा कर रहे थे। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार जनता को गुणवत्तापूर्ण चिकित्सा सुविधा मुहैया कराने के लिए संकल्पित है।
मुख्यमंत्री ने प्रदेश सरकार के विभागों और उपक्रमों में भर्ती परीक्षाओं को नियमित व समयबद्ध तरीके आयोजित करने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि इसके लिए भारत सरकार की तर्ज पर राज्य में सभी भर्ती परीक्षाओं के संचालन के लिए एक एजेंसी बनाई जाए। इसके साथ ही उन्होंने बसों के अंतरराज्यीय आवागमन को सुचारु बनाने के लिए आवश्यक कार्यवाही करने के लिए कहा। सीएम ने प्रदेश में सभी निर्धारित रूटों पर परिवहन निगम की बसें चलाने के निर्देश भी दिए।
मुख्यमंत्री ने कहा कि लखनऊ और कानपुर नगर में कोविड-19 के नियंत्रण और उपचार की व्यवस्था को सुदृढ़ करने उद्देश्य से बुधवार को वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के दौरान दिए गए निर्देशों को सख्ती से लागू किया जाए। वहीं, इस संबंध में शिथिलता बरतने वालों की जवाबदेही तय की जाए। उन्होंने कहा कि टेस्टिंग के जरिए कोविड-19 के संक्रमण की चेन को नियंत्रित करके व्यापक स्तर पर जीवन रक्षा की जा सकती है। इसके मद्देनजर टेस्टिंग कार्य में लगातार वृद्धि किया जाना जरूरी है। उन्होंने विशेष तौर पर कानपुर नगर और गोरखपुर में कोविड-19 के टेस्ट की संख्या बढ़ाने के निर्देश दिए।
सीएम योगी नेे निवेश मित्र पोर्टल के प्रभावी संचालन के लिए विशेषज्ञों की तैनाती करने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार ने उद्योग बंधु को अपग्रेड करते हुए नई संस्था इन्वेस्ट यूपी के गठन का निर्णय लिया है। इसलिए इस कार्य को प्रभावी ढंग से लागू करते हुए अगले एक से सवा साल के दौरान प्रदेश में डेढ़ लाख करोड़ रुपये तक के निवेश आकर्षित करने की कार्ययोजना बनाई जाए। उन्होंने प्रदेश की 98.5 फीसदी औद्योगिक इकाइयों के पूरी क्षमता से चलने पर संतोष जताया। कहा, शेष इकाइयों को भी पूरी क्षमता से चलाएं।
किसी पटल पर 3 दिन से अधिक लंबित न रहे पत्रावली
मुख्यमंत्री ने सभी विभागों की कार्य संस्कृति को बेहतर बनाने पर जोर दिया। उन्होंने कहा, सभी दफ्तरों को समयबद्ध तरीके से ई–ऑफिस प्रणाली से जोड़ा जाए। साथ ही निर्धारित प्रक्रिया के तहत शासकीय कार्यों में त्वरित निर्णय लिए जाएं। जिससे विभागीय मुख्यालय सहित अधीनस्थ कार्यालयों में पत्रावलियां 7 दिन से अधिक लंबित न रहें। वहीं, किसी पटल पर तीन दिन से अधिक समय तक पत्रावली के लंबित रहने पर संबंधित स्तरों पर जवाबदेही तय की जाए।
लखनऊ तथा कानपुर नगर में कोविड-19 के नियंत्रण तथा उपचार को सुदृढ़ करने के उद्देश्य से वीडियो काॅन्फ्रेंसिंग में दिए गए निर्देशों को सख्ती से लागू किया जाए
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