अक्सर पेट्रोल पंप पर अलग-अलग तरीके से पंप वाले तेल की चोरी कर लेते हैं। तेल चोरी को रोकना इतना आसान नहीं है क्योंकि आम आदमी समझ ही नहीं पाता कि उसके टैंक में कितना तेल गया है, क्योंकि नोजल को टैंक में डालकर तेल भरने के बाद निकाल लेना बस लोगों को इतना ही समझ आता है तेल भरवाते वक्त।
अगर आपके पास मोटरसाइकिल या कार है तो कुछ बातों का ध्यान रखकर तेल चोरी को रोक सकते हैं। ये बातें बहुत आसान हैं बस आपको सजग रहने की जरूरत है। तो आइए आपको बताते हैं पांच ऐसी बातें जिससे पेट्रोल पंप पर आपको पूरा तेल मिलेगा।
हमेशा टैंक फुल करवाएं: कोशिश करें कि गाड़ी का टैंक हमेशा फुल करवाएं। इससे फायदा ये होता है कि आपको पता है कि आपकी गाड़ी का टैंक कितने लीटर का है। उदाहरण के तौर पर आप अपनी ऑल्टो 800 में पेट्रोल फुल करवाते हैं तो पता है कि इसका साइज 35 लीटर का है। अगर गाड़ी पंप पर रिजर्व लगने के बाद पहुंचेगी तब भी इसमें कम से कम 31 लीटर तेल आएगा अगर तेल पूरी तरह से खत्म नहीं हुआ है तो। अगर आपकी ऑल्टो में कभी 40 लीटर तेल आ जाए तो समझ लीजिए दाल में काला नहीं बल्कि पूरी दाल काली है। इसलिए कोशिश करें कि टैंक फुल करवाएं और रिजर्व लगते ही गाड़ी की स्टीयरिंग पंप की ओर मोड़ दें।
फ्यूल गेज बार पर रखें नजर: अगर आपने कार में 10 लीटर तेल डलवाया है तो गेज कितना ऊपर आना चाहिए ये बात आपको जरूर पता होनी चाहिए। शक होने पर आपको अधिकार है कि पंप मैनेजर से कहकर गाड़ी का पूरा तेल निकलवाकर नपवा सकते हैं।
मीटर चेक करें:-
तेल डलवाने से पहले मीटर जरूर चेक करें। ईंधन भरने वाली की यह जिम्मेदारी होती है कि वह तेल डालने से पहले आपको मीटर चेक करने को कहे। अगर मीटर पर सब कुछ जीरो है तभी उसके तेल भरने की अनुमति दें। लेकिन अगर आपसे पंप कर्मी यह बात बोलना भूल जाए तो खुद मीटर पर अपनी नजर टिका लें।
लीटर में भरवाएं ईंधन:-
अक्सर मोटरसाइकिल वाले 50 रुपये, 100 रुपये या फिर 200 रुपये का तेल भरवाते हैं। पेट्रोल पंप वालों के लिए भी यह आसान होता कि बिना खुल्ले के दिक्कत के वो अपना काम तेजी से करते रहते हैं। लेकिन आजकल सबसे ज्यादा फ्रॉड इसी लोकप्रिय पद्वति में ही किया गया है। साफ्टवेयर के साथ छेड़छाड़ करके बहुत से पंप वाले आपकी मेहनत की कमाई को चालाकी से डकार जाते हैं ।
गड़बड़ी होने पर यहां करें शिकायत:-
टोल फ्री नम्बर पर किसी भी गड़बड़ी की शिकायत की जा सकती है। इसके अलावा भारत में चल रहे पेट्रोलियम कंपनियों के वेबसाइट पर भी अपनी शिकायत दर्ज कराई जा सकती है।
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