चंडीगढ़। हरियाणा में जातीय आरक्षण को लेकर रार बढ़ने की संभावना है। जाटों द्वारा सरकारी नौकरियों में जातिगत आंकड़ों पर आधारित रिपोर्ट पर सवाल उठने के बाद हरियाणा सरकार फिर सक्रिय हो गई है। इसके लिए अब फिजिकल सर्वेक्षण कराने की तैयारी की जा रही है। इस संबंध में पिछड़ा वर्ग आयोग फिजिकल सर्वे कराएगा।
इसके लिए पिछड़ा वर्ग आयोग ने चार पेज का प्रोफार्मा तैयार किया है। इसे सरकार के पास मंजूरी के लिए भेजा जाएगा। वहीं, केंद्र में अन्य पिछड़ा वर्ग (ओबीसी) और राज्य में पिछड़ा वर्ग (बीसी) में आरक्षण मांग रही अखिल भारतीय जाट आरक्षण संघर्ष समिति इस बार राष्ट्रव्यापी आंदोलन की तैयारी में जुट गई है।
पिछड़ा वर्ग आयोग ने प्रोफार्मा किया तैयार, सरकार की मुहर बाकी
संघर्ष समिति के राष्ट्रीय अध्यक्ष यशपाल मलिक की अगुवाई में शुक्रवार को प्रतिनिधिमंडल ने जातीय आंकड़ों को भ्रामक करार देते हुए पिछड़ा वर्ग आयोग के चेयरमैन जस्टिस एसएन अग्रवाल को ज्ञापन सौंपा। छह पेज के लंबे-चौड़े ज्ञापन में आंकड़ों का हवाला देते हुए मांग की गई है कि क्रीमीलेयर को अलग कर जाटों को आरक्षण का लाभ दिया जाए।
यशपाल मलिक ने पिछड़ा आयोग को ज्ञापन सौंप नौकरियों में जातिगत आंकड़ों पर उठाए सवाल
यशपाल मलिक ने एलान किया कि 18 फरवरी को पूरे देश में समुदाय के शहीद हुए 29 लोगों को श्रद्धांजलि देने के लिए बलिदान दिवस मनाया जाएगा। इसमें 36 बिरादरी के लोगों को शामिल कर आंदोलन की रूपरेखा तय की जाएगी।
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