रांची की 15 वर्षीय नाबालिग गाजियाबाद में बंधक, खोज में जुटी पुलिस

गाजियाबाद/रांची। रांची की एक 15 वर्षीय नाबालिग उत्तर प्रदेश के गाजियाबाद में बंधक बनी है। उसे वहां प्रताडि़त किया जा रहा है। इसकी जानकारी पीडि़ता ने खुद फोन कर अपने बड़े भाई को दी है। बड़ा भाई रांची में एक निजी कंपनी में काम करता है।

बहन की दर्द भरी आवाज और बातें सुनकर वह सीधे एसएसपी कुलदीप द्विवेदी के पास पहुंचा। एसएसपी ने घटना को तुरंत संज्ञान में लेकर रांची के कोतवाली थाने स्थित एंटी ह्यूमन ट्रैफिकिंग यूनिट (एएचटीयू) थाने में मामला दर्ज कराया और नाबालिग को मुक्त कराकर रांची वापस लाने का निर्देश दिया। एसएसपी ने एएचटीयू थानेदार को एक पदाधिकारी की टीम गाजियाबाद भेजने के लिए कहा है। एएचटीयू थाने की पुलिस पीडि़ता द्वारा बताए गए पते के सत्यापन में जुट गई है।

फोन नंबर पर नहीं हो पा रहा संपर्क 

नाबालिग ने जिस फोन नंबर से अपने भाई को फोन कर जानकारी दी थी, उस नंबर पर संपर्क नहीं हो पा रहा है। पुलिस नंबर का सीडीआर व लोकेशन खंगालने में जुटी है। ताकि पीडि़ता का पता लगाया जा सके। पीडि़ता ने जब भाई को फोन कर खुद को बंधक बने होने की जानकारी दी, तब भाई ने दोबारा उस नंबर पर संपर्क की कोशिश की। लेकिन नंबर बंद मिल रहा है। इसके बाद भाई ने पुलिस की मदद ली है।

पढ़ाने के नाम पर ले गई थी मौसेरी बहन 

पीडि़ता के भाई ने पुलिस को बताया कि गुमला निवासी उसकी मौसेरी बहन उसे लेकर गई थी। ले जाते समय कहा था कि वाराणसी में ले जाकर उसे रखूंगी और पढ़ा लिखाकर नौकरी दिलाऊंगी। इसके बाद से मौसेरी बहन से भी संपर्क टूट गया। कई बार संपर्क करने की कोशिश की गई, लेकिन संपर्क नहीं हो सका। लेकिन मौसेरी बहन होने की वजह से भरोसा कर छोड़ दिया था। अचानक बंधक बने होने की खबर सुनकर भाई समेत पूरा परिवार घबरा गया है।

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